शिशुओं का उल्टी करना या थूकना एक सामान्य प्रक्रिया है, जो अक्सर माता-पिता के लिए चिंता का कारण बन सकती है। लेकिन यह जानना महत्वपूर्ण है कि शिशु का उल्टी करना वास्तव में नवजात विकास का एक सामान्य हिस्सा है।
जब शिशु स्तनपान या बोतल से दूध लेने के बाद दूध उगलता है, तो उसे 'स्पिटिंग अप' कहते हैं। यह स्थिति खासतौर पर नवजात शिशु में सामान्य है क्योंकि उनका पाचन तंत्र अभी ठीक से विकसित नहीं हुआ होता और उनके निचले एसोफेजियल स्पिंक्टर कमजोर होते हैं, जिससे गैस्ट्रोएसोफेजियल रिफ्लक्स की स्थिति बनती है।
शिशु में पाचन समस्याएं जैसे कि नवजात शिशु का दूध उगलना, कई बार छोटे विकासात्मक समस्याओं के कारण हो सकती हैं, जो धीरे-धीरे समय के साथ ठीक हो जाती हैं। नवजात के लिए यह एक सामान्य प्रक्रिया है और इस वजह से माता-पिता को ज्यादा चिंता करने की आवश्यकता नहीं होती।
शिशु के उल्टी के कुछ आम कारणों में शामिल हैं:
अगर शिशु का वजन सामान्य रूप से बढ़ रहा है और वह स्वस्थ दिखता है, तो शर्मिंदगी की कोई बात नहीं। शिशु की उल्टी की समस्या तब चिंता का विषय बनती है जब वह वजन नहीं बढ़ा रहा होता या उसे डिहाईड्रेशन के संकेत दिख रहे होते हैं।
यदि शिशु में पाचन समस्याएं दीर्घकालिक हो रही हैं या अन्य लक्षण जैसे कि उल्टी का बढ़ना या वजन में कमी हो रही है, तो विशेषज्ञ डॉक्टर से परामर्श करना ज़रूरी है।
शिशु की आहार योजना में थोड़ी खुराक और धीरे-धीरे मात्रा बढ़ाना अच्छा होता है। जब शिशु ठोस भोजन खाने लगे, तो सुनिश्चित करें कि आहार पोषक तत्वों से भरपूर हो और शिशु के सामान्य विकास के संकेतों के अनुरूप हो।
अंत में, शिशु का आहार और थूकना एक स्वाभाविक प्रक्रिया है, जो अधिकतर मामलों में गंभीर नहीं होती। हालांकि, यदि स्थिति गंभीर हो रही है, तो चिकित्सकीय सहायता लेना बुद्धिमानी होगी। शिशुओं के विकास में ये चरण सामान्य होते हैं और अधिकांश उनमें से बिना किसी इलाज के ठीक हो जाते हैं।